14 August 2018

राष्ट्रवाद मेड इन भारत


स्वतंत्रता का गौरवगान है हमारा ये तिरंगा! आत्मसम्मान का रक्षक है ये तिरंगा! इतिहास का जीवंत गवाह है ये तिरंगा! शहीदों की आन-बान-शान है ये तिरंगा!
इन तीन रंग का महत्व शहीदों की माँ से पूछो! वीर जवानों की पत्नी से पूछो! अपने लाडले को सेना में भेज रही माँ से पूछो! डबडबाई आँखों से बेटे को बॉर्डर पर भेज रहे निरीह पिता से पूछो की स्वतंत्रता की कीमत और तिरंगा का अभिमान क्या है! आत्मसम्मान क्या है! आजादी क्या है! कर्तव्य क्या है! इसका मोल क्या है!
बड़ी हिम्मत चाहिए पूछने को ऐसा! कितने बड़े वाले निर्जीव व्यक्ति हों आप मगर इंसानियत और देश के प्रति प्यार अगर है तो नहीं पूछ पाओगे!


बयानों से देश नहीं चलता! तिरंगे के नीचे खड़े होकर शपथ लेने से गद्दार के खून में ईमानदारी नहीं पनपती! एक दिन तिरंगे फहरा देने से कोई देशभक्त नहीं हो जाता!
टेलीविजन पर बड़े बड़े वाले देशभक्त दिख रहे होंगे कुछ वो बरसाती मेढक है जो देश में रहकर हक़ से गरियाता है और हमलोगों के ईमानदारी वाले टैक्स के पैसे पर हराम का खाता है!
तिरंगे का सम्मान करने वाला संघी है! आतंक को पनपा कर पाक का झंडा लहराने वाला भटका हुआ नौजवान है!
लाल चौक पर तिरंगे की शान की रक्षा के लिए वीर सैनिक पत्थर खाते हैं! नेता मलाई चाट रहा मगर किसी को सूंघने तक नहीं दे रहा!


राष्ट्रवाद की भावना का सम्मान देशभक्ति का घोतक है!  हिन्दुस्तानी युवाओं का देश के प्रति जूनून सेना में जोश का ज्वर पैदा करता है! ये जो गली-गली बचपन में हमलोग तिरंगे लेकर नारे लगते घूमते थे न की “जो भारत से टकराएगा, चूर चूर हो जायेगा” इसी देशभक्ति जूनून में ये तिरंगा अभी में सामने आते मदहोश कर देता है! कुछ नहीं सूझता देश के आगे!
राष्ट्र सर्वप्रथम, सर्वोपरि की भावना यूँ नहीं आती! तपना पड़ता है देश के लिए! जीवन, जिंदगी और जवानी बर्बाद करनी पड़ती है तब जाकर किसी माई का लाल का कफन ये तिरंगा बनता है...
देशभक्ति की निर्झर बहती रसधारा में बहना पड़ता है किसी सपूत को! यूँ नहीं शहीदों की यात्रा में फूल बरसते! वीरता के नारे लगाकर देश के उस अमर जवान को अगले 7 जन्मों के लिए अमर बना दिया जाता है!

स्वतंत्रता दिवस की ढेरों शुभकामनाओं के साथ भारत माँ के प्रति सच्चे देशभक्त की निष्ठा और विश्वास को मेरा वंदन...

✍ अश्वनी
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07 August 2018

मित्रता दिवस स्पेशल


हंसी-ठिठोली और मज़ाक का ये रिश्ता गंभीरता में बदलने पर बहुत तकलीफ देती है! रिश्तों के मायने समझने में दोस्त ही हमे परिपक्व बना देता है!
दोस्त ही है जो गम के चेहरे पर मुस्कुराहट लाने को मजबूर कर देता है!
दोस्त ही है जो सारे दुनिया के सारे दुःख तकलीफों से ध्यान हटाकर मस्तमौला गुदगुदाता है, हंसाता है और साला मारता भी है...

साले का वजन भले ही हमसे कम हो मगर उठाकर दौड़ जाने का जुनून दिखाता है!
दिखने में पाव भर का हो लेकिन लड़ाई में सबसे आगे फुदककर पक्ष लेने वाला दोस्त जीवन का वो अनमोल होता है जिसका मोल लगाना दोस्ती के लिए असंभव है!
वो ताश खेलना सिखाया, पतंग उड़ाना सिखाया, गोली खेलना सिखाया, लट्टू नचाना सिखाया मगर गद्दारी करना नहीं सिखाया! इंसानियत को समझना सिखाया!
मां-बाप से डरना सिखाया!

प्यार करना सिखाया लेकिन लड़की दोस्तों के बारे में सबका मज़ाक उड़ाना भी सिखाया!
ईमानदारी से काम करना सिखाया मगर एग्जाम में चोरी करना भी सिखाया!
सिगरेट और गुटखा खाने को भी सिखाया मगर मैंने ये नही सीखा क्योंकि मेरे घर का दिया संस्कार इससे बेहतर था!
पढ़ाई से दूर हर कोई भागता है लेकिन दुनियादारी की समझ दोस्तों की पाठशाला में होती है!
दोस्तों से ठगकर खाने की कला सब मे नही होती!
ये टैलेंट दोस्तो के ग्रुप में किसी एक के पास होती है!
कोई एक ऐसा भी होता जिसका हाथ बहुत चलता, उससे सब सतर्क रहता कि साला कब मार बैठे!
एक होता है बहुत रूठने वाला,
एक होता है मज़ाक उड़ाने वाला!
एक होता है धमकीबाज टाइप!!!
इन सब के बावजूद जो तत्परता से आधी रात को भी मुसीबत में बुलाने पर हाज़िर हो जाये उस मित्र का मिलना आपकी जिंदगी का अनमोल खजाना है!!!
मुसीबत में जो साथ दे अगर वो नाराज़ हो बैठे तो उसके पांव पकड़ने में जरा भी संकोच न किया जाए!!
अच्छे दोस्त अनमोल होते हैं! ये विरले ही किसी को मिलते हैं!

मुँह पर चिकनी बातें करके पीठ पीछे दोस्ती को बदनाम करने वाले बहुत मिल जाएंगे
मगर सीना ठोककर दोस्ती की दुहाई देने वाला दोस्त हज़ारों में एक पैदा होता है!!!
मित्रता दिवस की सभी को बहुत बधाई!!!!!

✍ अश्वनी