24 November 2022

महाकाल कॉरिडोर

आदि शंकराचार्य के बाद अगर कोई हिंदू धर्म को पुनर्रस्थापित कर रहा है तो वे व्यक्ति मोदी हैं.. इसमें कोई शंका नहीं की भारत भर में घूम घूम कर सनातन को उसकी पहचान वापस कर रहे हैं. काशी कॉरिडोर की अनंत छटा अभी लोग देखने ही जा रहे की एक और महाकाल कॉरिडोर तैयार हो गया.

हम जैसे युवाओं में महाकाल का एक अलग क्रेज़ पहले से ही था, अब ये भव्यता निश्चित अपनी ओर खिंच लेगी.

आज के वक्त में हर चीज में लोगों को सटिस्फैक्शन चाहिए, वे

आज से मात्र 4-5 साल पहले तक मंदिर जाना 40+ उम्र का काम माना जाता था. घूमने के नाम पर सोसाइटी में भौकाल के लिए कुल्लू, मनाली, ऊटी बेस्ट ऑप्शन हुआ करता था.

आज आप महसूस करिए की देश और समाज में क्या बदलाव आया है. कितना कुछ बदल गया है, सब 360 डिग्री घुमा हुआ दिखता है.

ज्योर्तिलिंग का दर्शन युवाओं का पैशन होता जा रहा.

इसलिए आज की ज़रूरत है ऐसे कॉरिडोर को बनाना. वहीं घूमने जा रहे जहां शानदार व्यू हो, ट्रांसपोर्ट की सुविधा अच्छी रहे, लोकेशन गर्व से सोशल मीडिया पर शेयर कर सकें.

केदारनाथ में अबतक के सारे रिकॉर्ड टूट रहे हैं. काशी जाइए तो ऑफ सीजन तक में होटल फुल मिल रहा. गंगा आरती में शामिल होना गर्व की बात हो गई है. राम मंदिर जब बन उठेगा तो सनातन शंखनाद करेगा.

दक्षिण में मंदिरों की भव्य कलाकृति को वापस वो गौरव हासिल कराया जा रहा है जो इतिहास से मिटा दी गई थी.

आज महाकाल चमक रहे हैं. अपने बाबा की नगरी जगमगा रही है. ये शानदार फोटो और उसमें प्रधानमंत्री की अटूट भक्ति की ये तस्वीरें घर घर में पहुँच रही है. राष्ट्र का नायक जब महाकाल के समक्ष इस तरह नतमस्तक हैं तो अब लोगों की भीड़ चल ही पड़ेगी अपने बाबा महाकाल की ओर..

सोचिए आसपास का एरिया इन तीर्थयात्रियों के बदौलत कितना विकसित हो उठेगा. रोज़गार के साधन उपलब्ध होंगे.

आज का युवा और अमीर वर्ग तीर्थस्थलों की ओर आकर्षित हो रहा है. पूजा पाठ की तस्वीरें सोशल मीडिया पर अधिक लाइक कमेंट देकर जा रही.

देश रक्षा सामग्री में आत्मनिर्भर हो रहा, रोज़ यूनिकॉर्न कंपनी पनप रही, सिलिकॉन बनाना साकार हो रहा है. टेक्नोलॉजी में हम नित्य नये झंडे गाड़ रहे. समानान्तर हम अपनी संस्कृतियों में वापस घुल मिल रहे हैं. मंदिर जा रहे, अभिषेक कर रहे, अपने धर्म का सम्मान करना सीख रहे हैं.

बहुत बदला है.. हमें यक़ीन नहीं होता की आज हमारे मंदिर इतने भव्य स्वरूप में बदले जा रहे हैं.. निश्चित आदि शंकराचार्य का मोदी स्वरूप हमारे सामने हैं.. काल के देवता महाकाल को बारंबार प्रणाम 🙏🏻🙏🏻🙏🏻

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